मृदा स्वास्थ्य जागरूकता के साथ मनाया 79वां स्वतंत्रता दिवस

बुलन्दशहर के प्राथमिक विद्यालय दौलतपुर में इस बार स्वतंत्रता दिवस का उत्सव एक विशेष संदेश के साथ मनाया गया। 79वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर विद्यालय परिसर में न केवल देशभक्ति का जज़्बा देखने को मिला, बल्कि बच्चों को मृदा स्वास्थ्य और उसके संरक्षण का महत्व भी सिखाया गया। इस कार्यक्रम का उद्देश्य आने वाली पीढ़ी में पर्यावरण एवं कृषि के प्रति जिम्मेदारी की भावना जगाना था।

कार्यक्रम की शुरुआत ध्वजारोहण एवं राष्ट्रगान से हुई, जिसके बाद विद्यालय के प्रांगण में बच्चों, शिक्षकों और अतिथियों ने मिलकर मृदा स्वास्थ्य जागरूकता सत्र में भाग लिया। इस दौरान बच्चों को समझाया गया कि मिट्टी हमारे जीवन का आधार है और इसकी उर्वरता को बनाए रखना हमारे भविष्य के लिए कितना जरूरी है। उन्हें बताया गया कि अत्यधिक रसायनों के उपयोग, जल प्रदूषण और अव्यवस्थित खेती के तरीकों से मिट्टी की गुणवत्ता घट रही है, जिसे सुधारने के लिए प्राकृतिक व टिकाऊ खेती के उपाय अपनाने चाहिए।

मैनकाइंड एग्रीटेक के वरिष्ठ अधिकारी श्री केश्वर सिंह ने बच्चों को प्रेरित करते हुए कहा, “स्वस्थ मिट्टी ही स्वस्थ फसल का आधार है, और यही हमारे देश की खाद्य सुरक्षा की कुंजी है।” क्षेत्रीय अधिकारी श्री विश्वेन्द्र सिंह ने मृदा परीक्षण और जैविक खाद के उपयोग के लाभों पर प्रकाश डाला। धर्मवीर सिंह एवं दिनेश कुमार (शिवम बीज भंडार, दौलतपुर) ने बच्चों को सरल तरीकों से मिट्टी संरक्षण के उपाय समझाए।

प्रधानाचार्य श्री टी. सी. राजन ने इस अवसर पर कहा कि बच्चों में प्रारंभिक स्तर से ही पर्यावरण और मृदा संरक्षण की शिक्षा देना आवश्यक है, ताकि वे भविष्य में एक जिम्मेदार नागरिक बन सकें। कार्यक्रम में उपस्थित शिक्षकों ने भी बच्चों को मृदा स्वास्थ्य बनाए रखने की शपथ दिलाई।

कार्यक्रम के अंत में बच्चों ने “स्वस्थ मिट्टी, स्वस्थ जीवन” के नारे लगाकर पूरे वातावरण को उत्साह से भर दिया। स्वतंत्रता दिवस के इस आयोजन ने न केवल राष्ट्रप्रेम का संदेश दिया, बल्कि प्रकृति और कृषि संरक्षण की दिशा में भी एक महत्वपूर्ण कदम बढ़ाया।

यह पहल इस बात का प्रमाण है कि अगर हम आज से ही बच्चों को प्रकृति के प्रति संवेदनशील बनाएँ, तो आने वाले समय में देश को पर्यावरण के प्रति सजग और जागरूक पीढ़ी मिलेगी। दौलतपुर प्राथमिक विद्यालय का यह आयोजन निश्चित रूप से प्रेरणा का स्रोत बनेगा।

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